उड़ीसा ट्रेन हादसा: सुरक्षा के प्रति जीरो टॉलरेंस, छोटी से छोटी कमी को टाला न जाए, जांच जारी है- रेलवे बोर्ड अध्यक्ष ए. के. लाहोटी

उड़ीसा ट्रेन हादसा : रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष ए. के. लाहोटी उड़ीसा के बालासोर में हुई ट्रिपल ट्रेन दुर्घटना पर अपनी चिंता व्यक्त करते हुए कहा है कि यह मामला बेहद ही गंभीर है। उन्होंने सभी जोनल महाप्रबंधकओ सहित रेलवे के उच्च अधिकारियों को निर्देश दिया है। लाहोटी ने कहा कि रेलवे को बाहरी एवं आंतरिक समस्याओं के खिलाफ अच्छी तरीके से काम करने के लिए पूरे सिस्टम की समीक्षा करनी होगी।

हाल ही में हुआ ओडिशा के बालासोर में ट्रेन हादसा एक बहुत ही बड़ा रेल हादसा था जिसमें तीन ट्रेन एक साथ आपस में टकरा गई थी। सरकार के आंकड़ों के अनुसार इसमें कम से कम 288 लोगों की मौत हो गई थी एवं 1000 से अधिक लोग घायल हो गए थे। बता दें कि हादसे में मारे गए 288 लोगों में से 207 शवों की ही पहचान की जा सकी है, बाकी 81 अभी भी अपनी पहचान की तलाश में हैं उन्हें कंटेनर्स में रखा गया है जो वैज्ञानिक जांच के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।

उड़ीसा ट्रेन हादसे के कारणों की जांच जारी है

श्री लाहोटी ने कहा कि उड़ीसा ट्रेन हादसा के बाद रेलवे बोर्ड द्वारा दुर्घटना के कारणों की जांच की जा रही है। इसके लिए सुरक्षा समीक्षा बैठक में रेलवे अधिकारियों को संबोधित करते हुए लाहोटी ने बताया कि सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए हर आयाम और हर पहलू की समीक्षा की जानी चाहिए। सुरक्षा के प्रति जीरो टॉलरेंस होना चाहिए।

उन्होंने आगे कहा कि रेलवे का हर कर्मचारी सुरक्षा के प्रति जिम्मेदार है। किसी भी परिस्थिति में रेलवे कर्मचारियों को शॉर्टकट का सहारा बिल्कुल नहीं लेना चाहिए। रेलवे विभाग की अब यह जिम्मेदारी है कि फील्ड कर्मचारियों की मानसिकता में बदलाव लाया जाए। वरिष्ठ अधिकारियों के लिए आवश्यक है कि ब्लॉक एक्सटेंशन कोई समस्या नहीं है तो बुनियादी ढांचे में रखरखाव के लिए फील्ड कर्मचारियों को ब्लॉक मांगने में बाध्यता महसूस नहीं करनी चाहिए।

ट्रेन का रखरखाव और समय पर चलाना दोनों जरुरी

लाहोटी ने कहा ट्रेनों का रखरखाव एवं ट्रेनों को समय पर चलाना दोनों ही महत्वपूर्ण है। सुरक्षा के मद्देनजर इन दोनों के बीच संतुलन बनाए रखने की आवश्यकता होती है। रेलवे बोर्ड के डायरेक्टर ने आगे कहा कि यदि रेलवे के सबसे निचले कर्मचारी यह पता हो कि इस ट्रेन में आगे असुरक्षा की स्थिति है तो ट्रेन को रोकने में बिल्कुल संकोच नहीं करना चाहिए।

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श्री लाहोटी ने कहा कि उन्होंने अधिकारियों को कर्मचारियों के कामकाज का आकलन एवं उन्हें प्रशिक्षण देने के लिए निर्देश दिए हैं । उनका उद्देश्य सिर्फ कमियों को ढूंढना ही नहीं बल्कि कर्मचारियों को यह भी सिखाना है कि किसी भी छोटी सी छोटी कमी को टाला ना जाए। इस स्थिति से बचना है।

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