केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने सोमवार को कहा कि यह भारत को एयरोस्पेस उत्पादों के निर्माण पर ध्यान देने ज़रूरत है। 20 मार्च को एविएशन कंसल्टेंसी CAPA द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में सिंधिया देश के विमानन क्षेत्र की विकास क्षमता के बारे में बात की। सिंधिया जी ने कहा कि घरेलू एयरलाइंस को अगले पांच से सात वर्षों में लगभग 2,000 विमानों का बेड़ा होने का अनुमान है। यह भारत में एयरोस्पेस उत्पादों के निर्माण पर विचार करने का समय है। उन्होंने कहा, “भारत में निर्माण शुरू करने का समय आ गया है,”। देश का विमानन क्षेत्र तेजी से बढ़ रहा है। कार्यक्रम में बोलते हुए मंत्री ने कहा कि “हमें भारतीय नागरिक उड्डयन के पारिस्थितिकी तंत्र को बढ़ाने की जरूरत है”।
उन्होंने कहा “आइए और नागरिक उड्डयन विकास की कहानी का हिस्सा बनिए,”
सिंधिया ने कहा ड्रोन के क्षेत्र में भी हुई वृद्धि
उड्डयन मंत्री ने ड्रोन क्षेत्र में वृद्धि करने पर भी बात की। उन्होंने कहा कि इसके 2030 तक 3 लाख करोड़ रुपये होने और लगभग 2.5 लाख रोजगार सृजित होने की उम्मीद है।
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सिंधिया के अनुसार, इस साल के अंत तक 15 फ्लाइंग ट्रेनिंग ऑर्गनाइजेशन (FTO) स्थापित होने की उम्मीद है, जिससे FTO की कुल संख्या 50 हो जाएगी। जो कि वर्तमान में, 35 FTO हैं।
भारत में व्यापार करना हुआ आसान
सिंधिया ने कहा, “हम भारत में व्यापार करने में आसानी भी देख रहे हैं।” उनके अनुसार भारत में अब व्यापार करना आसान हो गया है। उन्होंने कहा “व्यवसाय करने में आसानी को और बेहतर बनाने के लिए विमान अधिनियम और नियमों दोनों में संशोधन करने के लिए विचार-विमर्श चल रहा है।”
आगे उन्होंने यह भी कहा कि “सभी क्षेत्रों के लिए एक S-आकार का विकास वक्र है और नागरिक उड्डयन क्षेत्र के मामले में, भारत शैशवावस्था और विकास के चरण के बीच है।”
उनके अनुसार, ‘S’ शैशव अवस्था, वृद्धि अवस्था और परिपक्वता अवस्था को दर्शाता है।
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